Kisan Bulletin 24th April 2019- 14 गांवों के किसानों की खेती प्रभावित

Kisan Bulletin 24th April 2019-
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हाल ही में बताया कि, पीएम किसान सम्मान निधि योजना का लाभ उनके राज्य के सभी छोटे और सीमांत किसानों को मिल रहा है…हालांकि, अब ये लाभ चुनाव के बाद बुंदेलखंड के छोटे और सीमांत किसानों के साथ-साथ बड़े किसानों को भी मिलने जा रहा है। 60 साल या उससे ज्यादा उम्र के हर छोटे किसान को पेंशन की सुविधा से जोड़ा जाएगा.. तो वहीं छोटे, मध्यम वर्गीय, व्यापारियों को भी पेंशन दी जाएगी.. आपको बता दें कि, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मंगलवार को गिन्नौटा बाग में बीजेपी प्रत्याशी अनुराग शर्मा की चुनावी सभा को संबोधित करते हुए ये घोषणाएं की हैं… इसी के साथ इस चुनावी सभा में योगी ने पीएम मोदी के भी काफी गुणगान किए… उन्होनें कहा कि, इन 5 सालों के कार्यकाल में किसानों और गरीबो कई योजनाओं का लाभ मिला हैं..
उत्तर प्रदेश के बस्ती जिले के साथ ही आस-पास के कई जिलों में औषधीय खेती का चलन बढ़ता जा रहा है। जहां अब से कुछ सालों पहले तक किसान औषधीय खेती से बिल्कुल अनजान थे.. तो वहीं अब जैसे-जैसे किसानों को औषधीय खेती के बारे में जानकारियां मिल रही हैं, वैसे-वैसे इस खेती में रूचि दिखाने वाले किसानों की संख्या में दिन-पर-दिन बढ़ावा होता जा रहा हैं। राज्य औद्योगिक मिशन के तहत उद्यान विभाग की तरफ से प्रोत्साहित की जा रही औषधीय खेती के प्रति किसानों की रूचि बढ़ती जा रही हैं… आपको बता दें कि, 6 तरह के औषधीय पौधों की खेती से किसान लाभ उठा रहे हैं। वित्तीय वर्ष 2018-19 में मिले टारगेट के अनुसार जिले में 34 हेक्टेयर क्षेत्रफल में औषधीय खेती होनी है। जबकि, अब तक 17 हेक्टेयर में किसानों ने अश्वगंधा, सतावर, तुलसी, एलोवेरा, सर्पगंधा के पौधे लगा रखे हैं। बाकी की भरपाई के लिए उद्यान विभाग किसानों को प्रेरित कर रहा है। जो किसान खेती कर रहे हैं उनका कहना है कि एक साल में इस खेती से अच्छी आमदनी हो जाती है। इस खेती पर सरकार से अनुदान भी मिलता है। औषधीय खेती किसानों के लिए काफी फायदेमंद है। किसान चाहे तो इस खेती से दोगुनी कमाई कर सकते हैं।
उत्तर प्रदेश के अमदापुर स्थित सरयू नहर करीब 15 दिनों से सूखी पड़ी हुई है। जिसके चलते किसान अपने खेतों में सिंचाई भी नहीं कर पा रहे हैं.. और सिंचाई ना होने की वजह से क्षेत्र के करीब 14 गांवों के किसानों की फसलें सूख रही हैं… परेशान किसानों ने सिंचाई विभाग के अधिकारियों को कई बार शिकायत दर्ज कराई हैं लेकिन इसके बाद भी अधिकारी उनकी तरफ बिल्कुल ध्यान नहीं दे रहे हैं.. इससे किसानों, काश्तकारों में गुस्सा हैं,. किसानों ने धमकी दी हैं कि, अगर जल्द से जल्द नहर में पानी नहीं छोड़ा गया तो वो आंदोलन करेंगे…. आपको बता दें कि, सरयू नहर से सेनवाहे, भिंगुरी, कल्हवापुर, पडेरा, खजुरी, लखाही, ऐलो, मल्लव, गोबरी, हटवा, अमदापुर, बड़कागांव, सहरांवा, महरौली गांव के किसानों की फसलों की सिंचाई होती है, लेकिन इस समय नहर सूखी पड़ी है.. किसानों का कहना है कि, लगभग 15 दिनों से नहर में पानी नहीं है, जिससे मक्का, गन्ना, सरसों, पिपरमिंट, मूली, तरोई, अरुवी के साथ अन्य फसलें सूख रही हैं। किसान डीजल इंजनों से फसलों की सिंचाई करने को मजबूर हैं। जिससे उन्हें काफी धाटा हो रहा है। हालांकि, इसे लेकर किसानों ने कई बार अवर अभियंता को पत्र दिया, लेकिन नहर में पानी नहीं छोड़ा गया है, जिससे किसान परेशान हैं। नहर सूखी होने से पशुओं को भी पानी के लिए भटकना पड़ रहा है। किसानों ने एक्सईएन और एसडीएम को पत्र भेजकर नहर में पानी छोड़ने की मांग की है। साथ ही किसानों ने चेतावनी दी है कि यदि जल्द ही नहर में पानी नहीं छोड़ा गया तो वे आंदोलन करेंगे।
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